सिसोदिया राजवंश की कुलदेवी श्री बायण माता मंदिर में दो दिवसीय धार्मिक अनुष्ठान सम्पन्न

सारंगदेवोत फाउंडेशन एवं जय राजपुताना संघ के संयुक्त तत्वावधान में चित्तौडगढ़ दुर्ग परिसर में हुआ भव्य धार्मिक अनुष्ठान का आयोजन 

सिसोदिया राजवंश की कुलदेवी श्री बायण माता जी 

सारंगदेवोत फाउंडेशन और जय राजपूताना संघ के संयुक्त तत्वावधान में शारदीय नवरात्रि के शुभ अवसर पर आश्विन शुक्ल पक्ष तृतीया, शनिवार, 5 अक्टूबर 2024 से दो दिवसीय धार्मिक अनुष्ठान कार्यक्रम का शुभारम्भ श्री बायण माताजी मंदिर प्रांगण, चित्तौडगढ़ पर किया गया। इस दो दिवसीय धार्मिक अनुष्ठान के तहत छप्पन भोग प्रसाद, रात्रि जागरण, हवन, विशाल भंडारा प्रसादी के कार्यक्रम रखे गये थे।



कार्यक्रम स्थल मंदिर परिसर में ग्यारह जोड़ो द्ववारा हवन अनुष्ठान 


रात्रि जागरण मे विजय वैष्णव एंड पार्टी ने सुंदर भजनों की प्रस्तुति से पूरे किले परिसर को भक्तिमय कर दिया था। माता के भजन एवं जयकारो से दुर्ग में भक्ति आभा छा गयी। दुसरे दिवस पर हवन आहुति का कार्य कमलेश जी पण्डित द्वारा करवाया गया। हवन में ग्यारह जोड़ो द्वारा आहुति दी गयी। तत्पश्चात कुलदेवी श्री बायण माता के छप्पन भोग का प्रसाद चढ़ाया गया।


रात्रि जागरणकर्ताओ का सम्मान करते हुए संगठन के सदस्य   


कार्यक्रम में पधारे सभी भक्तों का सम्मान एवं स्वागत प्रताप कंवर सारंगदेवोत गोपालपुरा, देवेंद्र सिंह सारंगदेवोत, ललित सिंह चुण्डावत, दिलीप सिंह बोहेडा, हिम्मत सिंह आसावरा , मान सिंह जी सारंगदेवोत आदि द्वारा किया गया।



महिला इकाई सदस्य द्वारा स्वागत एवं सम्मान 

मंदिर श्री बायण माताजी प्रवेश द्वार , चित्तोडगढ किला 

कार्यक्रम स्थल : चित्तोड़गढ़ किला परिसर 


कार्यक्रम के दौरान सभी भक्तजनों द्वारा शक्ति स्तुति 


कार्यक्रम में ये रहे उपस्थित 

कार्यक्रम में कान सिंह सुवावा (प्रदेश अध्यक्ष, अखिल भारतीय क्षत्रिय महासभा), ठा.लाल सिंह भाटियों का खेड़ा (भूपाल छात्रावास) सत्यपाल सिंह थाणा (संपादक - राजनोबल) सहित अनेक ठिकानों के गणमान्य उपस्थित रहे। इनके अतिरिक्त प्रेम सिंह रचका का कुंआ, टमर सिंह रचका का कुंआ, रविराज सिंह नया तालाब, ओम सिंह नया तालाब, राम सिंह उदय सिंह जी की भागल, कालू सिंह उदय सिंह जी की भागल, दिलीप सिंह जी अचलाना, मान सिंह अचलाना , ओमपाल सिंह ओनार सिंह जी की भागल , नरेंद्र सिंह ओनार सिंह जी की भागल , उदय सिंह ओनार सिंह जी की भागल , गौरव सिंह ओनार सिंह जी की भागल , ठा.अभय सिंह भोपजी का खेड़ा, प्रदीप सिंह भोपजी का खेड़ा, प्रताप सिंह भोपजी का खेड़ा, गोवर्धन सिंह गुलाब सिंह का खेडा , जसवन्त सिंह शिव सिंह जी गुढा, अभय सिंह शिव सिंह जी का गुढ़ा, ठा.दूल्हे सिंह जी ठुकरावा , सुरेंद्र सिंह नगरी, प्रहलाद सिंह जेतपुरा घाटा, अरविंद सिंह खोर , शक्ति सिंह कोटड़ी खुर्द, यशपाल सिंह कोटड़ी खुर्द, ,राम सिंह सुन्दरपुरा , लक्ष्मण सिंह जी सुन्दरपुरा, नरपाल सिंह जी कारुण्डा, भरतपाल सिंह सुन्दरपुरा, आकाश सिंह वाडा, नारायण सिंह मियारी, देवेंद्र सिंह खेतपाल का गुढ़ा, ठा.लाल सिंह जी लडेर, ठा.ददू सिंह जी फतेह सिंह जी का खेड़ा, हिम्मत सिंह भागरोत, रविराज सिंह अमरतिया, विजय जी चौबिस मोडी, महेंद्र सिंह जी राठौड़ा का गुढ़ा, मोहन सिंह जी राठौड़ा का गुढ़ा, महेंद्र पाल सिंह जी राणावतो की सादड़ी, फतेह सिंह जी पचतोली,रीना कंवर रुनीजा , रजनी कंवर आमेट, शीलू शेखावत हाथीगुढा, प्रेम कंवर जोर जी का खेड़ा, कुन्दन कंवर वाजनगढ़, कृष्णा राठौड़ फाचर सौलंकी, बसन्त कंवर हम्मेर सिंह जी का खेड़ा, पंकज कंवर पाखण्ड , हुकुम कंवर खेरोदा, दया कंवर खेतपाल का गुढ़ा, शीला कंवर  पारोली, सुनीता कंवर पारोली , संतोष कंवर कारुण्डा,रतन सिंह शक्तावत माताजी का खेड़ा गणपत सिंह भागरोत पालवास, करणपाल सिंह कितावत कुरड़ा, गोवर्धन सिंह चौहान मनकावास, महेंद्र सिंह कितावत चारणा की तलाई (भीमल) आदि सहित अन्य सभी समाजो की भी उपस्थिति रही।

मुख्यतः इन गाँवों की रही उपस्थिति 

 रचका का कुंआ, नया तालाब, उदय सिंह जी की भागल, अचलाना, ओनार सिंह जी की भागल, आसावरा, भोपजी का खेड़ा, हम्मेर सिंह जी का खेड़ा, आकोला गढ़, गुलाब सिंह का खेडा , हींता, आमेट , शिव सिंह जी का गुढा, पचतोली, रुनीजा, हाथीगुढा, मियारी, सुन्दरपुरा, वाडा, राठौड़ा का गुढ़ा, राणावतो की सादड़ी, नगरी, जेतपुरा घाटा, कोटड़ी खुर्द, बरोडिया ,मादडी देवस्थान, माताजी का खेड़ा, मनकावास, भीमल, पालवास, निम्बोला का गुड़ा, खेतपाल का गुढ़ा, वाजनगढ़, कारूण्डा, जोरजी का खेड़ा, फाचर सौलंकी, मोडी, बोहेडा, अमरतिया, फतेह सिंह जी का खेड़ा, लडेर, खेरोदा, पाखण्ड, ठुकरावा , भाटियो का खेड़ा, पारोली आदि ठिकानों से गणमान्य उपस्थित रहे ।


हवन पूजन द्वारा शक्ति आराधना 

सारंगदेवोत फाउंडेशन और जय राजपूताना संघ के सदस्यों द्वारा पोस्टर विमोचन 

  महाराज कुमार श्री विश्वराज सिंहजी (विधायक,नाथद्वारा) एवं
महाराज कुंवरानी श्रीमती महिमा कुमारी मेवाड़ (सांसद, राजसमंद)
(गतवर्ष कार्यक्रम) 

 मेवाड़ राजपरिवार सदस्य
  महाराज कुमार श्री विश्वराज सिंहजी (विधायक,नाथद्वारा) एवं
महाराज कुंवरानी श्रीमती महिमा कुमारी मेवाड़ (सांसद, राजसमंद)

(गतवर्ष कार्यक्रम)


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'रण कर-कर रज-रज रंगे, रज-रज डंके रवि हुंद, तोय रज जेटली धर न दिये रज-रज वे रजपूत " अर्थात "रण कर-कर के जिन्होंने धरती को रक्त से रंग दिया और रण में राजपूत योद्धाओं और उनके घोड़ो के पैरों द्वारा उड़ी धूल ने रवि (सूरज) को भी ढक दिया और रण में जिसने धरती का एक रज (हिस्सा) भी दुश्मन के पास न जाने दिया वही है रजपूत।"